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मृत्युञ्जय में कौन सा समास है? मृत्युञ्जय का समास-विग्रह क्या है?

Mrityuyagy mein kaun sa samas hai? Mrityuyagy ka samas-vigrah kya hota hai?

मृत्युञ्जय में कौन सा समास है?

बहुब्रीहि समास – मृत्युञ्जय शब्द में बहुब्रीहि समास है।
मृत्युञ्जय में समास का उपभेद समानाधिकरण बहुब्रीहि समास है
Mrityuyagy mein kaun sa Samas hota hai?
Bahuvrihi Samas  – Mrityuyagy shabd mein Bahuvrihi Samas  hai.

मृत्युञ्जय का समास-विग्रह क्या है? Mrityuyagy ka Samas-Vigrah kya hai?

मृत्युञ्जय शब्द का समास-विग्रह निम्नानुसार होगा :

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समास (समस्त पद) समास-विग्रह
मृत्युञ्जय : मृत्यु को जीतने वाला अर्थात् शंकर
Mrityuyagy : Mrityu ko jitne wala arthath shankar

क्योंकि मृत्युञ्जय में बहुब्रीहि समास है इसलिए हमने विद्यार्थियों की सहायता के लिए बहुब्रीहि समास की परिभाषा, भेद और उदाहरण को यहाँ पर संक्षेप में समझाया है। अगर विद्यार्थी बहुब्रीहि समास को विस्तार से पढ़ना चाहें तो नीचे दिये गए लिंक (बहुब्रीहि समास की परिभाषा – ) पर जा कर पढ़ सकते हैं।

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बहुब्रीहि समास की परिभाषा –

बहुब्रीहि समास [ सूत्र-अनेकमन्य पदार्थे ]-जिस समास में दोनों पद प्रधान न होकर कोई अन्य पद की प्रधानता होती है। उसे बहुब्रीहि समास कहते है। जैसे-दशानन-दस है मुख जिसके अर्थात् रावण

बहुब्रीहि समास के उदाहरण –

समानाधिकरण बहुब्रीहि समास के उदाहरण नीचे दिये गए हैं। विद्यार्थियों को इनका लिख लिख कर अभ्यास करना चाहिए।

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समास (समस्त पद) – समास-विग्रह
नेकनाम – नेक है नाम जिसका
दत्तभोजन – दत्त है भोजन जिसे
मृत्युञ्जय – मृत्यु को जीतने वाला अर्थात् शंकर
त्रिनेत्र – तीन है नेत्र जिसके अर्थात् शंकर
जितेन्द्रिय – जीती है इन्द्रिया जिसने
एकदंत – एक है दाँत जिसके अर्थात् गणेश
चन्द्रभाल – चन्द्रमा है माथे पर जिसके अर्थात् शंकर
चतुरानन – चार हैं आनन (मुंह) जिसके अर्थात ब्रह्मा
यशोधन – यश ही है धन जिसका अर्थात् विशेष व्यक्ति
सहस्रानन – सहस्र है आनन जिसके

समास की परिभाषा :

समास का तात्पर्य होता है-‘संक्षिप्तीकरण’ और इसका शाब्दिक अर्थ होता है छोटा रूप। अथार्त जब दो या दो से अधिक शब्दों से मिलकर जो नया और छोटा शब्द बनता है उस शब्द को समास (Samas) कहते हैं। समास रचना में दो पद होते हैं। प्रथम पद को ‘पूर्वपद ‘ कहा जाता है और द्वितीय पद को ‘उत्तरपद ‘ कहा जाता है। इन दोनों से जो नया शब्द बनता है वो”समस्त पद” या” सामासिक शब्द” कहलाता है।

समास-विग्रह क्या होता है?

जब समस्त पद के सभी पद अलग-अलग किये जाते हैं उसे समास-विग्रह (Samas Vigrah) कहते हैं। समास-विग्रह सामासिक पद के शब्दों के मध्य संबंध को स्पष्ट करने के लिए किया जाता है।

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परीक्षा में मृत्युञ्जय समस्त पद को लेकर कई प्रकार से प्रश्न पूछा जा सकता है जैसे कि मृत्युञ्जय में कौन सा समास है? मृत्युञ्जय शब्द में कौन सा समास होगा? मृत्युञ्जय में कौन सा समास होता है? मृत्युञ्जय में कौन सा समास है बताइये मृत्युञ्जय का समास विग्रह बताइए मृत्युञ्जय का समास विग्रह क्या है? मृत्युञ्जय का समास विग्रह क्या होगा? आदि।

समास – परिभाषा, भेद, उदाहरण, समास-विग्रह

समास अभ्यास प्रश्न (Samas Worksheet)

छत्तीसगढ़ में कौन सा समास है
समास विग्रह से क्या तात्पर्य है
बहुव्रीहि समास के 10 उदाहरण
अव्ययीभाव समास के उदाहरण
प्रतिदिन का समास विग्रह संस्कृत में
बहुव्रीहि समास के उदाहरण संस्कृत में
अल्पबुद्धि का समास विग्रह
तन-मन-धन का समास विग्रह
समास विग्रह से क्या तात्पर्य है
छत्तीसगढ़ में कौन सा समास है
प्रतिदिन का समास विग्रह संस्कृत में
बहुव्रीहि समास का उदाहरण है
तन-मन-धन का समास विग्रह
अल्पबुद्धि का समास विग्रह
समास के प्रकार
यथासामर्थ्य का समास विग्रह

25 Important परीक्षा में पूछे जाने वाले सामासिक शब्द के उदाहरण:

सभी प्रतियोगी परीक्षाओं में समास संबंधी प्रश्न पूछे जाते हैं जिनमें मार्क्स लाना आसान होता है किन्तु सही जानकारी और अभ्यास के अभाव में अक्सर विद्यार्थी समास के प्रश्न में अंक लाने में कठिनाई अनुभव करते हैं। हमने प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाने वाले समास के उदाहरण और समास-विग्रह के महत्वपूर्ण सामासिक पदों का संकलन किया है जिनका अभ्यास करके आप पूर्ण अंक प्राप्त कर सकते हैं।

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