Advertisement

रघुनन्दन में कौन सा समास है? रघुनन्दन का समास-विग्रह क्या है?

Raghunandan mein kaun sa samas hai? Raghunandan ka samas-vigrah kya hota hai?

रघुनन्दन में कौन सा समास है?

बहुब्रीहि समास – रघुनन्दन शब्द में बहुब्रीहि समास है।
रघुनन्दन में समास का उपभेद बहुब्रीहि समास है
Raghunandan mein kaun sa Samas hota hai?
Bahuvrihi Samas  – Raghunandan shabd mein Bahuvrihi Samas  hai.

रघुनन्दन का समास-विग्रह क्या है? Raghunandan ka Samas-Vigrah kya hai?

रघुनन्दन शब्द का समास-विग्रह निम्नानुसार होगा :

Advertisement

समास (समस्त पद) समास-विग्रह
रघुनन्दन : “रघु का नन्दन है जो -राम”
Raghunandan : Raghu ka nandan hai jo – Ram

क्योंकि रघुनन्दन में बहुब्रीहि समास है इसलिए हमने विद्यार्थियों की सहायता के लिए बहुब्रीहि समास की परिभाषा, भेद और उदाहरण को यहाँ पर संक्षेप में समझाया है। अगर विद्यार्थी बहुब्रीहि समास को विस्तार से पढ़ना चाहें तो नीचे दिये गए लिंक (बहुब्रीहि समास की परिभाषा – ) पर जा कर पढ़ सकते हैं।

Advertisement

बहुब्रीहि समास की परिभाषा –

बहुब्रीहि समास [ सूत्र-अनेकमन्य पदार्थे ]-जिस समास में दोनों पद प्रधान न होकर कोई अन्य पद की प्रधानता होती है। उसे बहुब्रीहि समास कहते है। जैसे-दशानन-दस है मुख जिसके अर्थात् रावण

बहुब्रीहि समास के उदाहरण –

बहुब्रीहि समास के उदाहरण नीचे दिये गए हैं। विद्यार्थियों को इनका लिख लिख कर अभ्यास करना चाहिए।

Advertisement

समास (समस्त पद) – समास-विग्रह
पद्मनाभ – वह जिसकी नाभि में पद्म (कमल) है -विष्णु
पद्मासना – पद्म है आसन जिसका -लक्ष्मी
पशुपति – पशुओं का पति (स्वामी)-शिव
पुंडरीक – वह जो कमल के समान है -विष्णु
पुण्डरीकाक्ष – पुण्डरीक (कमल) के समान अक्षि (आँखें) है जिसकी -विष्णु
पुष्पधन्वा – वह जिसके पुष्पों का धनुष है -कामदेव
प्रज्ञाचक्षु – जिसके प्रज्ञा के चक्षु हों -चक्षुहीन
प्राप्तोदक – प्राप्त है उदक जिसे -जिसका तर्पण हो गया है
मंदोदरी – उदर जिसका मंद हो वह स्त्री -रावण की पत्नी
मनोज – मन से जन्म लेन वाला -कामदेव

समास की परिभाषा :

समास का तात्पर्य होता है-‘संक्षिप्तीकरण’ और इसका शाब्दिक अर्थ होता है छोटा रूप। अथार्त जब दो या दो से अधिक शब्दों से मिलकर जो नया और छोटा शब्द बनता है उस शब्द को समास (Samas) कहते हैं। समास रचना में दो पद होते हैं। प्रथम पद को ‘पूर्वपद ‘ कहा जाता है और द्वितीय पद को ‘उत्तरपद ‘ कहा जाता है। इन दोनों से जो नया शब्द बनता है वो”समस्त पद” या” सामासिक शब्द” कहलाता है।

समास-विग्रह क्या होता है?

जब समस्त पद के सभी पद अलग-अलग किये जाते हैं उसे समास-विग्रह (Samas Vigrah) कहते हैं। समास-विग्रह सामासिक पद के शब्दों के मध्य संबंध को स्पष्ट करने के लिए किया जाता है।

Advertisement

परीक्षा में रघुनन्दन समस्त पद को लेकर कई प्रकार से प्रश्न पूछा जा सकता है जैसे कि रघुनन्दन में कौन सा समास है? रघुनन्दन शब्द में कौन सा समास होगा? रघुनन्दन में कौन सा समास होता है? रघुनन्दन में कौन सा समास है बताइये रघुनन्दन का समास विग्रह बताइए रघुनन्दन का समास विग्रह क्या है? रघुनन्दन का समास विग्रह क्या होगा? आदि।

समास – परिभाषा, भेद, उदाहरण, समास-विग्रह

समास अभ्यास प्रश्न (Samas Worksheet)

महादेव में कौन सा समास है
मृत्युंजय में कौन सा समास है
कार्यालय शब्द में कौन सा समास है
घुड़सवार में कौन सा समास है
नगपति में कौन सा समास है
मित्र मंडली सामाजिक पद में कौन सा समास है
छत्तीसगढ़ में कौन सा समास है
“हरफनमौला”,में कौन सा समास है?
देवासुर का समास विग्रह कीजिए
अव्ययीभाव’ समास में पूर्व पद ———-होता है।
समास विग्रह से क्या तात्पर्य है
अव्ययीभाव समास का उदाहरण है
अष्टभुजा का समास विग्रह है
जलवायु में प्रयुक्त समास है
द्विगु समास का इनमे से कौन सा उदाहरण है
बहुव्रीहि समास का उदाहरण है

25 Important परीक्षा में पूछे जाने वाले सामासिक शब्द के उदाहरण:

सभी प्रतियोगी परीक्षाओं में समास संबंधी प्रश्न पूछे जाते हैं जिनमें मार्क्स लाना आसान होता है किन्तु सही जानकारी और अभ्यास के अभाव में अक्सर विद्यार्थी समास के प्रश्न में अंक लाने में कठिनाई अनुभव करते हैं। हमने प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाने वाले समास के उदाहरण और समास-विग्रह के महत्वपूर्ण सामासिक पदों का संकलन किया है जिनका अभ्यास करके आप पूर्ण अंक प्राप्त कर सकते हैं।

Advertisement

Leave a Reply