Advertisement

चंद्रशेखर में कौन सा समास है? चंद्रशेखर का समास-विग्रह क्या है?

Chandershekhar mein kaun sa samas hai? Chandershekhar ka samas-vigrah kya hota hai?

चंद्रशेखर में कौन सा समास है?

बहुब्रीहि समास – चंद्रशेखर शब्द में बहुब्रीहि समास है।
चंद्रशेखर में समास का उपभेद ब्याधिकरण बहुब्रीहि समास है
Chandershekhar mein kaun sa Samas hota hai?
Bahuvrihi Samas  – Chandershekhar shabd mein Bahuvrihi Samas  hai.

चंद्रशेखर का समास-विग्रह क्या है? Chandershekhar ka Samas-Vigrah kya hai?

चंद्रशेखर शब्द का समास-विग्रह निम्नानुसार होगा :

Advertisement

समास (समस्त पद) समास-विग्रह
चंद्रशेखर : चंद्र है सिर पर जिसके अर्थात् शंकर
Chandershekhar : Chandar hai sir par jiske arthath shankar

क्योंकि चंद्रशेखर में बहुब्रीहि समास है इसलिए हमने विद्यार्थियों की सहायता के लिए बहुब्रीहि समास की परिभाषा, भेद और उदाहरण को यहाँ पर संक्षेप में समझाया है। अगर विद्यार्थी बहुब्रीहि समास को विस्तार से पढ़ना चाहें तो नीचे दिये गए लिंक (बहुब्रीहि समास की परिभाषा – ) पर जा कर पढ़ सकते हैं।

Advertisement

बहुब्रीहि समास की परिभाषा –

बहुब्रीहि समास [ सूत्र-अनेकमन्य पदार्थे ]-जिस समास में दोनों पद प्रधान न होकर कोई अन्य पद की प्रधानता होती है। उसे बहुब्रीहि समास कहते है। जैसे-दशानन-दस है मुख जिसके अर्थात् रावण

बहुब्रीहि समास के उदाहरण –

ब्याधिकरण बहुब्रीहि समास के उदाहरण नीचे दिये गए हैं। विद्यार्थियों को इनका लिख लिख कर अभ्यास करना चाहिए।

Advertisement

समास (समस्त पद) – समास-विग्रह
कुसुमाकर – वह जिसके कुसुम के शर है-कामदेव
ब्रजवल्लभ – वह जो ब्रज का वल्लभ है-कृष्ण
शैलनंदिनी – वह जो शैल की नंदिनी है-पार्वती
वाचस्पति – वह जो वाक् का पति है-बृहस्पति
मक्खीचूस – मक्खी को भी चूस जाता है जो-कंजूस
दीर्घबाहु – लम्बी है भुजाएं जिसकी-विष्णु
कुसुमायुध – कुसुम का आयुध जिसका-कामदेव
शाखामृग – शाखा का है मृग जो-बंदर
सहस्त्राक्ष – हजार है नेत्र जिसके-इन्द्र
रावनारि – रावण का है शत्रु जो-राम

समास की परिभाषा :

समास का तात्पर्य होता है-‘संक्षिप्तीकरण’ और इसका शाब्दिक अर्थ होता है छोटा रूप। अथार्त जब दो या दो से अधिक शब्दों से मिलकर जो नया और छोटा शब्द बनता है उस शब्द को समास (Samas) कहते हैं। समास रचना में दो पद होते हैं। प्रथम पद को ‘पूर्वपद ‘ कहा जाता है और द्वितीय पद को ‘उत्तरपद ‘ कहा जाता है। इन दोनों से जो नया शब्द बनता है वो”समस्त पद” या” सामासिक शब्द” कहलाता है।

समास-विग्रह क्या होता है?

जब समस्त पद के सभी पद अलग-अलग किये जाते हैं उसे समास-विग्रह (Samas Vigrah) कहते हैं। समास-विग्रह सामासिक पद के शब्दों के मध्य संबंध को स्पष्ट करने के लिए किया जाता है।

Advertisement

परीक्षा में चंद्रशेखर समस्त पद को लेकर कई प्रकार से प्रश्न पूछा जा सकता है जैसे कि चंद्रशेखर में कौन सा समास है? चंद्रशेखर शब्द में कौन सा समास होगा? चंद्रशेखर में कौन सा समास होता है? चंद्रशेखर में कौन सा समास है बताइये चंद्रशेखर का समास विग्रह बताइए चंद्रशेखर का समास विग्रह क्या है? चंद्रशेखर का समास विग्रह क्या होगा? आदि।

समास – परिभाषा, भेद, उदाहरण, समास-विग्रह

समास अभ्यास प्रश्न (Samas Worksheet)

महादेव में कौन सा समास है
घुड़सवार में कौन सा समास है
राज मर्यादा में कौन सा समास है
मित्र मंडली सामाजिक पद में कौन सा समास है
भूखंड में कौन सा समास है
चंद्रशेखर का समास विग्रह कीजिए
पराधीन’ समस्तपद में कौन-सा समास है?
आज जन्म में कौन सा समास है
चंद्रशेखर का समास विग्रह कीजिए
चंद्रशेखर में कौन सा समास है
घुड़सवार में कौन सा समास है
सचिवालय का सही समास विग्रह क्या है?
महादेव में कौन सा समास है
राज मर्यादा में कौन सा समास है
भूखंड में कौन सा समास है
पूर्व पद संख्यावाची वाला समास क्या कहलाता है

25 Important परीक्षा में पूछे जाने वाले सामासिक शब्द के उदाहरण:

सभी प्रतियोगी परीक्षाओं में समास संबंधी प्रश्न पूछे जाते हैं जिनमें मार्क्स लाना आसान होता है किन्तु सही जानकारी और अभ्यास के अभाव में अक्सर विद्यार्थी समास के प्रश्न में अंक लाने में कठिनाई अनुभव करते हैं। हमने प्रतियोगी परीक्षाओं में पूछे जाने वाले समास के उदाहरण और समास-विग्रह के महत्वपूर्ण सामासिक पदों का संकलन किया है जिनका अभ्यास करके आप पूर्ण अंक प्राप्त कर सकते हैं।

Advertisement

Leave a Reply