चाणक्य नीति दर्पण

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आचार्य चाणक्य ने बताया है कि जीवन में मोक्ष की प्राप्ति कैसे करें

बन्धन्य विषयासङ्गः मुक्त्यै निर्विषयं मनः। मन एव मनुष्याणां कारणं बन्धमोक्षयोः॥ बुराइयों में मन को लगाना ही बन्धन है और इनसे मन को हटा [...]
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दुष्ट व्यक्ति से निपटने के लिए जानिये चाणक्य के 14 सूत्र

कृते प्रतिकृतिं कुर्यात् हिंसेन प्रतिहिंसनम् । तत्र दोषो न पतति दुष्टे दौष्ट्यं समाचरेत्॥ उपकारी के साथ उपकार, हिंसक के साथ प्रतिहिंसा करनी चाहिए [...]
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मूर्ख व्यक्ति के साथ कैसा व्यवहार करें, जानिये चाणक्य ने इस बारे में क्या कहा है?

Chanakya Neeti – Murkhata par Chanakya ke Anmol vichar Advertisement मूर्खस्तु परिहर्तव्यः प्रत्यक्षो द्विपदः पशुः। भिनत्ति वाक्यशूलेन अदृश्ययं कण्टकं यथा ॥ मूर्ख व्यक्ति [...]
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किसी के कुल-खानदान की पहचान करने के लिए चाणक्य ने बताया है यह सूत्र !

Chanakya Neeti – Kul (Khandan) par Chanakya ke Anmol vichar आचारः कुलमाख्याति देशमाख्याति भाषणम्। सम्भ्रमः स्नेहमाख्याति वपुराख्याति भोजनम् ॥ आचरण से व्यक्ति के [...]
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अगर मानेगें आचार्य चाणक्य की बातों को तो मिट सकती है गरीबी

दारिद्रयनाशनं दानं शीलं दुर्गतिनाशनम्। अज्ञानतानाशिनी प्रज्ञा भावना भयनाशिनी॥ दान दरिद्रता को नष्ट कर देता है । शील स्वभाव से दुःखों का नाश होता [...]
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आपका ज्ञान (knowledge) आपके लिए हो सकता है घातक अगर नहीं किया … जानिये चाणक्य ने ज्ञान पर क्या ज्ञान दिया?

कोकिलानां स्वरो रूपं नारी रूपं पतिव्रतम्। विद्या रूपं कुरूपाणां क्षमा रूपं तपस्विनाम्॥ कोयलों का रूप उनका स्वर है । पतिव्रता होना ही स्त्रियों [...]
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अपने कार्य को करना चाहते हैं सफलतापूर्वक पूरा तो मत भूलिए चाणक्य के इन मन्त्रों को !

प्रभूतं कार्यमपि वा तत्परः प्रकर्तुमिच्छति। सर्वारम्भेण तत्कार्यं सिंहादेकं प्रचक्षते॥ छोटा हो या बड़ा, जो भी काम करना चाहें, उसे अपनी पूरी शक्ति लगाकर [...]
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विष या जहरीले भोजन से होने वाली हानि पर चाणक्य की राय

परोक्षे कार्यहन्तारं प्रत्यक्षे प्रियवादिनम्। वर्जयेत्तादृशं मित्रं विषकुम्भं पयोमुखम् ॥ पीठ पीछे काम बिगाड़नेवाले था सामने प्रिय बोलने वाले ऐसे मित्र को मुंह पर [...]
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भोजन के महत्व के बारे में चाणक्य के विचार

भोज्यं भोजनशक्तिश्च रतिशक्तिर वरांगना । विभवो दानशक्तिश्च नाऽल्पस्य तपसः फलम् ॥ भोज्य पदाथ, भोजन-शक्ति, रतिशक्ति, सुन्दर स्त्री, वैभव तथा दान-शक्ति, ये सब सुख [...]