सेंट पिट्सबर्ग: भारत और रूस के एक बार फिर से साथ आने पर पडोसी देश पाकिस्तान और चीन को मिर्ची लगी है| भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से सेंट पिट्सबर्ग में मुलाकात की| आपको बता दे नरेंद्र मोदी 4 यूरोपीय देशो की यात्रा पर निकले हुए है| दोनों ने मुलाकात के बाद सयुंक्त घोषणापत्र जारी करते हुए कहा भारत-रूस हमेशा से दोस्त थे और दोस्त ही रहेंगे| दोनों देशो के बीच 5 महत्वपूर्ण समझौते हुए है|पहली बार दोनों देशो की द्विपक्षीय वार्ता मास्को के अतिरिक्त कही हुई है|
रूस ने भारत के एनएसजी और संयुक्त परिषद् के लिए समर्थन किया
मोदी और पुतिन की मुलाकात के बाद पुतिन ने आधिकारिक तौर पर एनएसजी और संयुक्त परिषद् में प्रवेश के लिए भारत का समर्थन किया है| दोनों देशो ने डब्ल्यूटीओ,ब्रिक्स, जी 20 और शंघाई सहयोग संगठन जैसे बहुपक्षीय मंचो पर आपसी सहयोग को बढ़ाने का संकल्प लिया| दोनों की वार्ता के बाद एक संयुक्त पत्र जारी हुआ जिसमे लिखा था कि “विस्तारित संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में स्थायी सीट के लिए भारत की उम्मीदवारी के प्रति अपने पुरजोर समर्थन को रूस दोहराता है”| साथ ही 48 देशो के एनएसजी सदस्यों में भारत की दावेदारी का भी समर्थन करता है|
इस मौके पर राष्ट्रपति पुतिन ने कहा – रूस भारत के सभी हितो का सम्मान करता है| हम हमेशा भारत के साथ खड़े है, जो कि हम पिछले कई समय से है| आने वाले एक सप्ताह में भारत शंघाई कॉर्पोरेशन आर्गेनाईजेशन (एससीओ) का पूर्णरूप से सदस्य बन जायेगा| साथ ही उन्होंने पाकिस्तान को भी इशारे ही इशारे में बहुत कुछ कह दिया| उन्होंने कहा पाकिस्तान को अपनी हैसियत समझनी चाहिए|