नई दिल्ली: गोरखपुर की तरह फर्रुखाबाद के लोहिया अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से एक महीने में ही 49 बच्चों की मौतें हो चुकी हैं.डीएम रविंद्र कुमार के आदेश पर सिटी मजिस्ट्रेट जेके जैन ने सीएमओ और महिला सीएमएस के खिलाफ बच्चों के इलाज में लापरवाही और समय पर सूचना न देने की रिपोर्ट दर्ज कराई. कोतवाल अनूप निगम ने बताया कि जांच के बाद आरोपियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी.
मृत शिशुओं के परिजनों बताया कि लोहिया अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी की वजह से उनके बच्चों की मौतें हुई हैं. प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि सीएमओ, सीएमएस व लोहिया अस्पताल के अन्य दोषी चिकित्सकों के खिलाफ आइपीसी की धारा 176, 188 व 304 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है. उपनिरीक्षक बनी सिंह को मामले की विवेचना सौंपी गई है।डीएम ने एफआईआर के बाद सीएमओ और सीएमएस को तत्काल प्रभाव से हटा दिया है.
30 अगस्त को निरीक्षण करने पहुंचे डीएम ने एसएनसीयू वार्ड में शिशुओं के बारे में जानकारी ली थी. तब उन्हें बताया गया कि 20 जुलाई से 20 अगस्त के बीच 49 शिशुओं की मौत बीमारी के कारण हुई. लेकिन बच्चों के परिवार वालों ने आरोप लगाया है कि ऑक्सीजन की कमी के कारण हुई है. डीएम के आदेश पर सिटी मजिस्ट्रेट, एसडीएम सदर, तहसीलदार सदर की टीम ने पूरे मामले की जांच की.लेकिन जब मामले की गंभीरता से जांच करने के बाद सामने आया कि बच्चों की मौत ऑक्सीजन की कमी के कारण हुई.
जिलाधिकारी रविंद्र कुमार का कहना है कि मामले की जांच को गंभीरता से किया जा रहा है. इसके साथ भी यह भी जांच में देखा जाएगा कि बच्चों को आवश्यकता पड़ने पर कृत्रिम आक्सीजन नहीं मिली या फिर जन्म लेने के बाद सांस लेने के दौरान ऑक्सीजन की कमी प्राकृतिक कारणों से हुई. जांच में यह बात सामने खुल कर आई कि अस्पताल में हुई बच्चों की मौत इलाज के दौरान ऑक्सीजन और दवाओं की कमी व लापरवाही के चलते हुई है.